आज के समय मे शहरों मे बड़े-बड़े शॉपिंग मॉल्स है जिनमें बहुत से लोग काम करते है और बहुत से candidate ऐसे है जो शॉपिंग मॉल मे जॉब पाना चाहते होंगे लेकिन उन्हें इसके बारे मे जानकारी नहीं है इसलिए आज इस आर्टिकल में हम आपको शॉपिंग मॉल में जॉब पाने से रिलेटेड पूरी जानकारी … Read more
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What is NCC Course in Hindi : अगर आप अपने देश के लिए कुछ अच्छा करने में कॉन्ट्रिब्यूशन देना चाहते हैं और साथ ही अपने लिए एक डिसिप्लिन और वेल डेवलप्ड पर्सनैलिटी भी चाहते हो इसके अलावा आप हायर एजुकेशन करना चाहते हैं और डिफेंस एग्जाम में एक्स्ट्रा नंबर पाना चाहते हैं तो आप एनसीसी … Read more
What Makes B.sc Renal Dialysis Technology A Good Career?
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What is AAFT in Hindi: आज के टाइम में 10th, 12th और ग्रेजुएशन करने के बाद बहुत सारे ऐसे कोर्सेस मिल जाएंगे जिन्हें आप कर सकते हैं वैसे तो आज के टाइम में फ़िल्में देखना सभी लोग पसंद करते हैं लेकिन आप में से बहुत सारे लोग ऐसे भी होंगे जो फ़िल्म और टीवी में … Read more
How to Get a Job in NASA in Hindi : नासा का पूरा नाम नेशनल एरोनॉटिक्स एंड स्पेस एडमिनिस्ट्रेशन होता है ये संयुक्त राष्ट्र अमेरिका की एक शाखा है जो भी इस आकाश की सीमा से ऊपर उठने और अंतरिक्ष में जाने की चाहत रखता है उसका एक ही सपना होता है नासा में जाना, … Read more
Solution: Dialysis Technician Exam Study Guide
What is PhD in Hindi : आज के टाइम में हर एक व्यक्ति एक अच्छी पढ़ाई करके अच्छी जॉब पाना चाहता है लेकिन अगर आप किसी भी चीज़ की पढ़ाई करते हैं और उसमें सिर्फ अपनी डिग्री लेना चाहते हैं तो आपको उस कोर्स के बारे में पूरी जानकारी होनी जरूरी है तो आज हम … Read more
How to Become Air Ticketing Staff in Hindi: एयरपोर्ट पर टिकटिंग जॉब के अलावा भी बहुत सी कंपनीज है एजेंसीज़ है जो कि इस पोस्ट के लिए रिक्रूटमेंट करती है और अपने कैंडिडेट को एक अच्छी खासी सैलरी देती है और इसके लिए क्वालिफिकेशन 12th पास होती है तो आइये आज हम जान लेते हैं … Read more
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What Does A Hemodialysis Technician Do?
CUET exam kya hai in Hindi: अगर आप किसी अंडरग्रेजुएट कोर्स या प्रोग्राम में एडमिशन लेना चाहते है तो आपको CUET एग्जाम देना होता है आप में से बहुत से स्टूडेंट्स ने CUET का एग्जाम पास भी किया होगा लेकिन कुछ स्टूडेंट्स ऐसे भी है जिन्हें इस एग्जाम के बारे में पूरी जानकारी नही होगी … Read more
में आपका स्वागत हैं। हमेशा आपको Technology, Education, Business, Job, Make Money, Banking, Free courses आदि पर सर्वोत्तम जानकारी हिंदी में देने का प्रयास कर रहा है. आपको यहां किसी भी Problem का Solution मिल सकता है. और आपको किस टॉपिक पर आर्टिकल चाहिए आप हमें कमेंट या फिर मेल करके पता सकते है ताकि हम उस पर जल्द ही आर्टिकल लिख सके.By Munam Wasif Dec 24, 2020 hemodialysis kya hai in hindi, hemodialysis meaning in hindi, hemodialysis process in hindi, हीमोडायलिसिस की प्रक्रिया, हीमोडायलिसिस क्या है
हेमोडायलिसिस खून से खतरनाक तत्वों को माशिन के द्वारा अलग करने की प्रक्रिया है। जो काम स्वस्थ किडमी आमतौरसे करता है, वही काम किडनी की बीमारी होने की स्तिथि में हेमोडायलिसिस द्वारा किया जाता है। किडनी बीमारी होने की स्तिथि में इलाज के लिए हेमोडायलिसिस सामान्य रूप उपयोग में आने वाला तकनीक है। इस प्रक्रिया में नोफ्रोलॉजिस्ट, डायलिसिस नर्स, डायलिसिस तकनीशियन तथा मरीज़ की भागीदारी होती है। हेमोडायलिसिस की प्रक्रिया में खून को शरीर के बाहर निकाल कर कृत्रिम रूप से तैयार किए हुए किडनी, जिसे डाइलायज़र कहा जाता है, से साफ करने के बाद पुनः शरीर में डाला जाता है।
Diploma Course In Dialysis Technician
स्वस्थ किडनी आपके शरीर से आवश्यकता से अधिक पानी, नमक तथा अन्य हानिकारक तत्वों को मूत्र के द्वारा शरीर से बाहर निकाल देता है। किडनी कुछ हार्मोन भी बनाता है। इसके अलावा हड्डी को मज़बूत बनाने के लिए आवश्यक विटामिन डी भी कुछ मात्रा में बनता है। शरीर में आरबीसी के निर्माण के लिए आवश्यक रिथ्रोपोइटिन भी किडनी ही बनाता है।
जब किडनी काम करना बन्द कर देता है तो इस स्तिथि में शरीर से खतरनाक आवांक्षित पदार्थ बाहर नही निकल पाता है। यह शरीर में ही रह जाता है। इस कारण भूख लगना कम हो जाता है, थकान, कमज़ोरी, वज़न घटने, रक्चाप बढ़ने की समस्या तथा शरीर में अधिक पानी जमा होने इत्यादि की समस्या आने लगती है। शरीर में पानी जमा होने के कारण टखने में सूजन आ जाता है, फेफड़े में पानी जाने के कारण व्यक्ति जल्दी जल्दी सांस लेने लगता है।
हेमोडायलिसिस में मरीज़ के शरीर से खून बाहर निकाल लिया जाता है तथा इसे एक विशेष फिल्टर से गुज़ारा जाता है। इस फिल्टर को डाइलायज़र या कृत्रिम किडनी कहा जाता है। जब खून को इससे गुज़ारा जाता है तो यह फिल्टर खून से आवांक्षित पदार्थों तथा जल को अलग कर देता है।
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इसके बाद फिर खून साफ होने के बाद वापस आपके शरीर में डाल दिया जाता है। यह आपके रक्तचाप को नियंत्रित रखता है तथा शरीर में आवश्यक रसायनों जैसे एसिड, पोटेशियम तथा सोडियम की मात्रा को खून में उचित मात्रा में बनाए रखता है। किडनी फेल होने की स्तिथि में मरीज़ को एक सप्ताह में 3 बार डायलिसिस करवाना पड़ता है। डायलिसिस का प्रत्येक सत्र 4 – 4 घण्टे का होता है। डायलिसिस का समय डायलिसिस विभाग की उपलब्धता तथा क्षमता पर निर्भर करता है।
हेमोडायलिसिस से पहले एक ज़रूरी चीज़ वस्कुलर एक्सेस को तैयार करना है। वस्कुलर एक्सेस के तहत शरीर पर एक ऐसे जगह का चुनाव किया जाता है जहां से हेमोडायलिसिस की प्रक्रिया के लिए खून निकाला एवं डाला जाता है। फिस्टुला, वस्कुलर एक्सेस का सबसे सामान्य प्रकार है।
वस्कुलर एक्सेस को हेमोडायलिसिस की प्रक्रिया के कम से कम 6 से 8 हफ्ता पहले ही तैयार करना होता है। इसे तैयार करने के लिए एक छोटे ऑपरेशन के द्वारा हाथ में एक आर्टरी को एक नस के द्वारा जोड़ा जाता है। ऐसा इसके बहाव को तेज़ करने के लिए किया जाता है। हेमोडायलिसिस शुरू करने से पहले फिस्टुला में एक निडिल डाला जाता है तथा डायलिसिस के बाद इसे हटा दिया जाता है।
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जब किसी मरीज़ को अचानक से डायलिसिस की ज़रूरत होती है, तो इस स्तिथि में एक डायलिसिस कैथेटर कमर के पास या नस में डाला जाता है। यह 2 से 3 दिन तक उपयोग किया जाता है। इसके अलावा यह कैथेटर गर्दन के पास इंटरनल जुगुलर वेन में भी डाला जा सकता है। ये कैथेटर नली या बिना नली वाला हो सकता है। उसके अलावा गर्दन के पास एक त्वचा के अंदर एक नली बनाया जाता है। इसे प्रमाकैठ कहा जाता है। इसका उपयोग डायलिसिस के लिए कई महीनों से लेकर साल भर तक करना सुरक्षित रहता है। नली वाले कैथेटर में संक्रमण भी काफी कम रहता है।
• अगर हेमोडायलिसिस की प्रक्रिया में सेंट्रल वेनस कैथेटर का उपयोग किया जा रहा है तो इससे संक्रमण फैलने की अधिक संभावना रहती है।
• वैसे तो डायलिसिस की प्रक्रिया में दर्द नही होता है, लेकिन फिस्टुला में निडिल डालते समय थोड़ा दर्द हो सकता है।
Dialysis Technician Job Description
• हेमोडायलिसिस के मरीज़ में रक्तचाप का ऊपर नीचे होना काफी सामान्य होता है। ऐसे में विशेष सावधानियां बरतने की ज़रूरत होती है।
• सीमित आहार लेना पड़ता है। सोडियम का सेवन बन्द कर दिया जाता है। इसके अलावा मरीज़ को पोटैशियम युक्त चीजें जैसे ड्राई फ्रूट्स, नारियल पानी, केला इत्यादि लेने से मना कर दिया जाता है। डॉक्टर आपको पानी भी कम से कम पीने के लिए कह सकता है।
नोट- इस लेख में बताई गई जानकारियों को केवल जानकारी के तौर पर ही लें। इलाज संबंधित कोई भी फैसला डॉक्टर की सलाह पर ही लें।टाटा इंस्टिट्यूट ऑफ सोशल साइंस(टिस) द्वारा शुरू किए गए डायलिसिस कोर्स में स्टूडेंट्स की रूचि बढ़ने लगी है। 15 स्टूडेंट्स के साथ शुरू हुए इस कोर्स में फिलहाल 200 से अधिक स्टूडेंटस हैं। टिस के वोकेशनल पाठ्यक्रम की डीन नीला डाबिर ने कहा कि अपेक्स किडनी केयर के साथ मिलकर शुरू किए गए बी.वीओसी इन डायलिसिस टेक्नॉलजी (वैचलर वोकेशनल कोर्स) में स्टूडेंट्स को डायलिसिस की प्रैक्टिल जानकरी दी जाती है। जिसके तहत उन्हें मशीन को ठीक तरीके से प्रयोग करने के साथ ही एक्सपर्ट द्वारा डायलिसिस के दौरान होने वाली जटिलताओं को सुलझाने की भी जानकारी दी जाती है। देश में